बिष्टुपुर में स्थित टीके रीएल एस्टेट प्राइवेट लिमिटेड ने व्यवसायिक पार्किंग भवन का नक्शा पास कराया और बना दिया सात मंजिला बिल्डिंग. जिसका नाम है टीके कारपोरेट टावर्स. जानकारी के अनुसार टीके रिएल एस्टेट प्राइवेट लिमिटेड नामक कंपनी के मालिक तेजवीर सिंह है. वर्ष 2008 में टाटा स्टील की लैंड डिपार्टमेंट ने कंपनी के 45 कट्ठा जमीन सबलीज पर दिया था. जमीन व्यवसायिक पार्किंग बनाने के लिए दिया गया था. जिसके बाद एक सितंबर 2010 को जमशेदपुर अधिसूचित क्षेत्र समिति (जेएनएसी) ने इस जमीन पर चार मंजिला व्यवसायिक पार्किंग बनाने का नक्शा पास किया.
जमीन पर टीके कॉरपोरेट टावर्स बन गया
आज की स्थिति यह है कि पार्किंग के नाम पर एक कोना है. बाकी जमीन पर टीके कॉरपोरेट टावर्स बन गया है. चार मंजिला के बजाय सात मंजिला. आरटीआई कार्यकर्ता व बाल मजदूर मुक्ति सेवा संस्थान के मुख्य संयोजक सदन ठाकुर ने इस पूरे मामले की शिकायत राज्यपाल, मुख्य सचिव, नगर विकास विभाग के सचिव, उपायुक्त, जेएनएसी और टाटा स्टील से की गई. लेकिन कार्रवाई नहीं हुआ. हालांकि जेएनएसी ने अब तक टीके रिएल एस्टेट प्राइवेट लिमिटेड को ऑक्यूपेशन सर्टिफिकेट नहीं दिया है. न ही कंपलीशन सर्टिफिकेट जारी हुआ है. लेकिन टीके कारपोरेट टावर्स में कई बैंकों की शाखाएं खुल गईं हैं. कई फाइनेंस कंपनियों के दफ्तर खुल गए हैं और कुछ शाेरूम भी चल रहे हैं. हर रोज नये-नये शोरूम व दुकानें खुलने का सिलसिला जारी है. टीके रिएल एस्टेट प्राइवेट लिमिटेड का यह प्रोजेक्ट लगभग 100 करोड़ रुपये का है.
जमीन पार्किंग के लिए ही सिंहभूम चैंबर ऑफ कॉमर्स को दी गई थी
जमीन के बारे जो जानकारी मिल रही है, वह चौंकाने वाले हैं. वर्ष 2008 में तत्कालीन डीसी डॉ नितिन मदन कुलकर्णी के पत्र के आधार पर यह जमीन पार्किंग के लिए ही सिंहभूम चैंबर ऑफ कॉमर्स को दी गई थी. यहां की बाउंड्री करके चैंबर के व्यवसायी गाड़ियों को पार्क करते थे. कंपनी ने जमीन के बदले पैसे की मांग की थी. जिसके बाद चैंबर के तत्कालीन महासचिव सुरेश सोंथालिया ने पार्किंग के लिए निःशुल्क जमीन देने के लिए डीसी को पत्र लिखा था. इसी बीच टाटा स्टील ने टीके रिएल एस्टेट प्राइवेट लिमिटेड को यह जमीन आवंटित कर दी.
उपायुक्त के आदेश के बादवजूद JNAC खामोश
टीके रिएल एस्टेट प्राइवेट लिमिटेड कंपनी द्वारा नक्शा विचलन की शिकायत जेएनएसी से की गई थी. जेएनएसी ने टीके रिएल एस्टेट प्राइवेट लिमिटेड के मालिक तेजवीर सिंह से एक लाख रुपये जुर्माना भी वसूला और फिर चुप्पी साध ली. सदन ठाकुर ने इस मामले की शिकायत पूर्वी सिंहभूम (जमशेदपुर) के उपायुक्त विजया जाधव से दोबारा की. उन्होंने 12 अक्टूबर 2022 को जेएनएसी के विशेष पदाधिकारी को एक पत्र लिख कर आदेश दिया है कि मामले की जांच करें. साथ ही मामले में जिला दंडाधिकारी के कोर्ट में केस दर्ज कराएं. जेएनएसी के अफसरों ने इस आदेश को भी दबा दिया है.
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