
काशी (Varanasi) विश्वनाथ मंदिर कॉरिडर का काम पूरा हो चुका है. पीएम इसका 13 दिसंबर को पत्र-पत्रिका समारोहपूर्वक जनता के लिए जारी कर देंगे. इसी बीच एक ऐसा मामला सामने आया है. यहां के बुलानाला इलाके में स्थित एक मस्जिद को वाराणसी विकास प्राधिकरण (VDA) ने ‘गेरुआ’ रंग से रंगवा दिया है. इतना ही नहीं, इलाके की घरों और दुकानों को भी इसी रंग से पोत दिया. VDA की ऐसी हरकत से मुस्लिम समुदाय ने नाराज़गी जताते हुए कहा कि ये उनकी तानाशाही है.
रातोंरात बदला मस्जिद का रंग
आजतक के संवाददाता रोशन जायसवाल के अनुसार मोहम्मद एजाज इस्लाही जो की मस्जिद की देखरेख करने वाली अंजुमन इंतजामिया मसाजिद कमेटी के सदस्य है ने बताया कि उनकी मस्जिद का रंग रातोंरात बदल दिया गया. ऐसा अगर प्रशासन को इस तरह का कुछ करना भी था, तो पहले एक बार उनसे बात कर लेनी चाहिए थी.
मोहम्मद एजाज का कहना, “इस तरह की हरकत से मुस्लिम समुदाय काफी ज्यादा नाखुश है, पर अब माहौल ही कुछ इस तरह का है कि बोला नहीं जा सकता. पीएम मोदी कॉरिडोर का उद्घाटन करने आ रहे है इसे लेकर यह सन्देश दिया जा रहा है कि इलाके के सारे लोग उनके समर्थन में हैं, लेकिन ऐसा कुछ भी नहीं है.”
मोहम्मद एजाज ने बताया कि उन्होंने इसे लेकर शिकायत दर्ज कराई है और वाराणसी के डीएम से मिलने की कोशिश भी की है जो की हो नहीं पाई, और इसके अलावा काशी विश्वनाथ मंदिर कार्यालय में भी इस मामला को उन्होंने उठाया है.
साजिश के तहत बदला गया मस्जिद का रंग
सैयद मोहम्मद यासीन जो की अंजुमन इंतजामिया मसाजिद कमेटी के जॉइंट सेक्रेटरी है, उन्होंने यह आरोप लगाया है कि साजिश के तहत मस्जिद का रंग बदला गया. आजतक से हुई बातचीत के दौरान उन्होंने बताया की उनके इलाके में दो मस्जिद है उन्हें भी अगर रंग दिया जाता तो पता नहीं कितनी भयावह स्थिति पैदा होती. हमारे मस्जिद का रंग या तो सफेद या फिर हरा होता है. लेकिन इस मस्जिद को जोगिया रंग में रगने का क्या मतलब है. हमे ख़ुशी है की उसी इलाके के गुरूद्वारे को नहीं रंगा गया. पर हमने इस मामले के खिलाफ आवाज़ उठाई है और हमारी बाते सुनी भी गई है. उन्होंने हमे आश्वासन दिया है कि जल्द मस्जिद को सफेद रंग में वापस रंग दिया जाएगा.
नाराज है आस- पड़ोस के लोग
आजतक की खबर के अनुसार मस्जिद के पास की एक दुकान के मालिक धीरज VDA द्वारा की गई पुताई को लेकर नाराज दिखे. वे कहते हैं,
“इस प्रदेश की हालत वैसी ही है, जैसे जिसकी लाठी उसकी भैंस. इरादतन बनारस के माहौल को खराब करने की कोशिश की जा रही है, हमारी दुकान को भी मनमाना ढंग से रंग दिया. मस्जिद को भी रंग रोगन कर दिया गया. यहाँ की गंगा-जमुनी तहजीब को खराब करने की कोशिश हो रही है.
VDA ब्यान- हमने बस एकरूपता लाने की कोशिश की
सुनील वर्मा जो रंग रोगन की जिम्मेदारी निभाने वाले वाराणसी विकास प्राधिकरण के सचिव और काशी विश्वनाथ मंदिर के मुख्य कार्यपालक अधिकारी है, आजतक को उन्होंने बताया कि ऐसा रंग रोगन सिर्फ इसलिए किया जा रहा है जिससे एकरूपता आ सके. साथ ही ये भी कोशिश की जा रही है कि विभिन्न मार्गों का सौंदर्यीकरण भी हो जाए. हमने पहले कई इमारतों को रंगा था, हमारा ये प्रयोग काफी अच्छा रहा. अब हम इसी शैली के साथ मैदागिन इलाके से लेकर गोदौलिया इलाके तक ऐसा करवा रहे हैं.
पूरे इलाके में एकरूपता और सुंदरता आ सके इसी सोच के साथ हम इमारतों पर ये रंग करवा रहे हैं क्योकि बनारस की ज़्यादातर इमारतें चुनार के लाल बलुआ पत्थर से बनी हैं. इसका रंग हलका पिंक जैसा है. इसे लेकर अभी उनके पास कोई आपत्ति नहीं आई है. उनके मुताबिक काशी सहिष्णुता और सर्वधर्म का भी संदेश देती आई है और किसी प्रकार का रंग किसी भी धर्म से नहीं जुड़ा हुआ है.

Join Mashal News – JSR WhatsApp
Group.
Join Mashal News – SRK WhatsApp
Group.
सच्चाई और जवाबदेही की लड़ाई में हमारा साथ दें। आज ही स्वतंत्र पत्रकारिता का समर्थन करें! PhonePe नंबर: 8969671997 या आप हमारे A/C No. : 201011457454, IFSC: INDB0001424 और बैंक का नाम Indusind Bank को डायरेक्ट बैंक ट्रांसफर कर सकते हैं।
धन्यवाद!