हाल ही में मैं एक बहुत फेमस इंडियन मोटिवेशनल स्पीकर की सेमीनार हुई | उसमे एक ऐसा बन्दा जिसने लाइफ में बहुत कुछ अचीव किया है, जिसके यूट्यूब वीडियोस पर Millions में views हैं| स्पीकर बोलने में ऐसा कि आप बस मंत्रमुग्ध हो जाएं|
मोटिवेशनल सेमिनार और दर्शक/ श्रोता
मेरी भी Expectations high थी | उम्मीद थी कि आज ये 3 घंटे कुछ नया, कुछ अच्छा और कुछ लाइफ चेंजिंग सीखने को मिलेगा| हो सकता है सेमीनार में सिखाये गए कुछ टिप्स के ज़रिये मेरी लाइफ में जादू सा कुछ हो जाये | सबकी उम्मीद होती है, मेरी भी थी | इसलिए मैंने सेमिनार में ऑडिटोरियम की सबसे आगे वाली सीट चुनी ताकि भरपूर आनंद और ज्ञान लिया जा सके |
बेचारे लोग बैठ तो गये अपनी अपनी सीटों पे लेकिन स्पीकर साहब का आना अभी बाकी था | तकरीबन 15 मिनट तक दर्शक, श्रोता अपनी घड़ी को देखते रहे | तभी स्पीकर साहब जनता के पीछे से सीढ़ियों से उतरते हुए आये स्टेज की तरफ तशरीफ़ लाये | जनाब को 4 bouncers ने घेर रखा था| चलो ये भी ठीक है |
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स्पीकर का जादू
अब माइक को देखते ही जनाब में जोश सा आ गया | ऑडिटोरियम तालियों से गूंजने लगी | फिर उन्होंने बोलना शुरू किया | अपनी टॉपिक पे अपनी बात रखी, उदाहरण भी देते गये | हालांकि 2 मिनट से भी कम बोले लेकिन फिर उसी चीज पे लौट आये जिसके वे आदि थे: सफलता — सक्सेस — कामयाबी !
मैंने सोचा हो सकता है थोड़ी ही देर में वे वापस अपनी टॉपिक पर लौट आएंगे पर नहीं, उन्हें तो वही बोलना था जो वे हमेशा से बोलते आये हैं | जैसे : SMART Goals बनाओ,कम्फर्ट जोन से बाहर निकलो, बड़ा सोचो, कुछ मोटिवेशन स्टोरीज, और ऐसी ही कई बातें जो मैंने हज़ारों बार पढ़ा, सुना और देखा है | ये बिल्कुल वैसा ही लग रहा था जैसे आपको जादूगर की ट्रिक्स पहले से पता हो और वो आपको पहले से जादू दिखा रहा हो |
सेमिनार में जाना कितना वोर्थ्फुल है
अब आप ही बताये ऐसे में क्या आपको मजा आएगा? तो क्या ऐसी सेमिनार्स में जाना worth है ? अब इसका कोई सटीक जवाब तो है नहीं | सेमिनार में जाना कितना वोर्थ्फुल है, ये निर्भर करता है दो चीजों पे :
- आप कौन हैं?
- स्पीकर कौन है?
अगर आप ऐसे व्यक्ति हैं जो पहले से ही मोटिवेशनल कंटेंट consume करता रहा है- in form of blogs, videos, audios या books तो उसके लिए इस तरह की सेमिनार एक रिवीजन की तरह हो सकती हैं जहाँ आप बहुत ज़्यादा expect नहीं कर सकते हैं | ऐसा इसलिए क्योंकि लाइफ में सक्सेस पाने या लाइफ चेंज करने के कुछ बेसिक फंडामेंटल्स हैं जो कि वही रहने हैं, जो पहले से हम जानते हैं | बस उसको बताने का तरीका अलग-अलग हो सकता है| जिसके लिए स्पीकर्स मौजूद है अपना जादू बिखेरने के लिए |
सेमिनार कैसी जायेगी ये स्पीकर पर भी बहुत निर्भर करता है | कोई शक नही कि टॉप के स्पीकर्स काफी काबिल होते हैं लेकिन सवाल ये उठता है कि वे इस पर्टिकुलर सेमिनार में अपना कितना एफर्ट डाल रहे हैं|
कैसा है आपका एक्सपीरियंस
अब मेरे केस में तो स्पीकर ने कोई एफर्ट नहीं डाला था| बस कोई पुरानी सेमीनार की PPT उठा कर उसे ही एक्सप्लेन कर दिया | इसलिए मेरे लिए तो मोटिवेशनल सेमिनार worth नहीं रहा | लकिन मुझे ये ज़रूर जानना है कि आपका अनुभव कैसा रहा ? अगर आपने भी इस तरह के सेमीनार अटेंड किये हैं तो क्या वो फायदेमंद लगी? लगी तो क्यों ? नहीं लगी तो क्यों? आपके जवाब से उन लोगों को फायदा होगा जो ऐसी सेमिनार्स में जाने को लेकर कन्फ्यूज्ड हैं |
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Source- achhikhabar.com
NOTE: इस article को रीडर्स एक डिबेट की तरह लें | मशाल न्यूज़ किसी भी सेमिनार के खिलाफ कोई राय नहीं रखता है न ही कोई टिप्पणी करता है | ये article का बस लोगों के विचार और अनुभव को दर्शाता है |
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