उपायुक्त संदीप कुमार दल-बल के साथ बुधवार को गोपीनाथपुर में उस स्थल पर गए, जहां चाल धंसने से पांच लोगों की मौत हुई है। बाद में कहा- अवैध खनन में मरने वाले या उनके स्वजन पर केस नहीं किया जाएगा। किसी तरह की कार्रवाई नहीं होगी। भविष्य में भी यही होगा।
उन्होंने कहा- जिन लोगों ने अपनों को खोया है, वे निडर होकर वैसे लोगों का नाम बताएं जो उनसे कोयला खनन करवाते हैैं, इसके एवज में पैसे देते हैैं, भट्ठों में जमा कर उसे बेचते हैैं। मीडिया से कहा- आम जन भी अवैध खनन करने वालों के बारे में सूचना देते हैैं तो अवश्य कार्रवाई होगी। जो लोग संगठित रूप से कोयला चोरी का अपराध कर रहे हैैं, उन्हें चिह्नित कर कानूनी कार्रवाई होगी।
अवैध खनन में पर रोक की माँग
उपायुक्त ने गोपीनाथपुर कोलियरी की बंद ओसीपी व कापासारा आउटसोर्सिंग परियोजना के दुर्घटनास्थल का निरीक्षण किया। निरसा की भाजपा विधायक अपर्णा सेनगुप्ता भी उपायुक्त से मिलीं और अवैध खनन पर रोक की मांग की।उपायुक्त ने कहा- अवैध खनन में किसी की जान जाती है तो नाम सार्वजनिक होने पर प्राथमिकी दर्ज होने की यहां आम धारणा है। लोगों में यह विश्वास जगाने का प्रयास करेंगे कि अकाल मौत पर केस नहीं होगा बल्कि कोयला तस्करी करवा रहे गिरोह के सदस्यों का नाम सामने आएगा।
डीसी के साथ एसडीओ प्रेम कुमार तिवारी, डीजीएमएस अधिकारी मनोज कुमार साहू, बीडीओ विकास कुमार राय, बिनोद कर्मकार, सीओ नितिन शिवम गुप्ता भी थे। उपायुक्त बोले- ईसीएल या बीसीसीएल प्रबंधन अज्ञात लोगों पर केस करता है तो अनुसंधान कर पुलिस असल दोषी को सामने लाएगी।
सीआइएसएफ और निजी सुरक्षा कर्मियों का भी बेहतर उपयोग करें। उन्होंने ईसीएल महाप्रबंधक बीसी सिंह को निर्देश दिया कि खदान में जिन जगहों पर उत्पादन नहीं करना है, वैसे स्थानों की भराई करें। सुरक्षा की ऐसी व्यवस्था करें कि खदान में बाहरी लोगों का प्रवेश न हो।
निरीक्षण के बाद उपायुक्त ने धनबाद में समाहरणालय सभागार में संवाददाता सम्मेलन किया। कहा- सिर्फ गोपीनाथपुर में दुर्घटना में मौत होने की पुष्टि हो सकी है। वहां पांच लोगों की मौत हुई है। जो भी मौत हुई है, वह कोयला चुनने के दौरान हुई है, ना कि अवैध खनन में। कापासारा और दहीबाड़ी में अवैध खनन के दौरान दुर्घटना होने और उसमें किसी की मौत होने का साक्ष्य नहीं मिला है।
प्रतिबंधित क्षेत्र में जबरन घुसने पर तुरंत प्राथमिकी दर्ज करें
उपायुक्त ने कहा- कोल कंपनियों के अलावा सीआइएसएफ के लोगों को कहा गया है कि खदान में प्रतिबंधित क्षेत्र में कोई जबरन घुसने की कोशिश करता है तो नामजद प्राथमिकी दर्ज करें। पुलिस तुरंत कार्रवाई करेगी। निरसा की दुर्घटना में कोल कंपनी के साथ उनकी सुरक्षा में लगे लोग प्रारंभिक तौर पर दोषी हैं। ग्रामीण एसपी रिष्मा रमेशन के नेतृत्व में विशेष जांच दल का गठन किया गया है। सच सामने आ जाएगा।
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