झामुमो के विधायक सुदिव्य कुमार सोनू और पार्टी प्रवक्ता सुप्रियो भट्टाचार्य ने आज भाजपा पर पलटवार किया. भाजपा ने कहा था कि खान सचिव पूजा सिंघल के मामले की जांच सीबीआई से करायी जानी चाहिये. सीएम हेमंत को भी इस्तीफा देना चाहिये. सुदिव्य सोनू ने इसके जवाब में कहा कि आइएएस अधिकारी पूजा सिंघल के खिलाफ जिस मामले में कार्रवाई हुई है, वह 2008 और 2009 का मामला है. 2014 में इसकी शिकायत हुई थी. उस समय पूजा सिंघल खूंटी डीसी थीं. मीडिया ने ED की कार्यवाही को ऐसा दिखाया जैसे ये भ्रष्टाचार हेमंत सरकार में ही हुआ हो. सुप्रियो ने कहा कि मनरेगा से मोमेंटम घोटाले में शामिल इस अधिकारी को रघुवर दास ने बचाने का काम किया था.
पूजा सिंघल को कैसे मिली क्लिन चिट
सुप्रियो ने भाजपा से पूछा कि रघुवर दास को बताना चाहिये कि पूजा सिंघल को कैसे खूंटी में हुए 18 करोड़ से अधिक के अनियमितता मामले में 27 फरवरी 2017 को क्लीन चिट दी गयी. मनरेगा में हुए लूट मामले में हुई ईडी की कार्रवाही को खनन कार्य से जोड़ कर हेमंत सोरेन सरकार को बदनाम करने की साजिश रची जा रही है.
बाबूलाल और राजबाला को भी बनाया जाये अभियुक्त
सुदिव्य और सुप्रियो ने कहा कि हमारी पार्टी भ्रष्टाचारियों के संरक्षण के खिलाफ है. जिस समय पूजा पर घोटाले के आरोप लगे, उस दौरान रघुवर दास की सरकार थी और मुख्य सचिव राजबाला वर्मा थीं. इसलिए उन्हें भी अभियुक्त बनाया जाना चाहिए. कहीं न कहीं पूरे मामले में भाजपा विधायक दल के नेता बाबूलाल मरांडी भी जिम्मेवार हैं.
जब पूरे मामले पर पूर्व सीएम अर्जुन मुंडा ने एसीबी जांच की सिफारिश की थी, तो उसे कैसे दबा दिया गया. आठ दस साल बाद फिर क्यों यह कहा जा रहा है कि हेमंत सोरेन की सरकार भ्रष्टाचार को संरक्षण दे रही है.
सभी जमीनों की होगी जांच
आईएएस अधिकारी पूजा सिंघल के खिलाफ कार्रवाई पर श्री भट्टाचार्या ने कहा कि ईडी के तरफ से जब तक कोई आधिकारिक बयान नहीं आ जाता, सरकार के पास सीमित विकल्प हैं. पल्स अस्पताल की जमीन मामले पर पूछे गये सवाल के जवाब में कहा कि वैसे तमाम जमीनों की जांच होगी, जो सीएनटी एक्ट के दायरे में आता है और जिनका गलत तरीके से हस्तांतरण किया गया है.
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