स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा बच्चों को कोविड से बचाने के लिए संशोधित दिशा-निर्देश जारी
भारत सरकार के स्वास्थ्य मंत्रालय ने बच्चों और किशोरों को कोविड-19 के संक्रमण से बचाने के लिए संशोधित दिशा-निर्देश जारी किए हैं. इसके तहत यह कहा गया है कि पांच साल और उससे कम उम्र के बच्चों के लिए मास्क पहनने की सिफारिश नहीं की जाती है. मंत्रालय ने कहा कि 12 वर्ष और उससे अधिक उम्र के लोगों को वयस्कों की तरह ही मास्क पहनना चाहिए. इसमें यह भी कहा गया है कि माता-पिता की सीधी देखरेख में 6-11 साल के बच्चे सुरक्षित और उचित तरीके से मास्क का उपयोग कर सकते हैं.
माता-पिता की देखरेख में 6-11 साल के बच्चे मास्क का उपयोग कर सकते हैं
केंद्र सरकार ने कहा है कि कोरोना संक्रमण की गंभीरता के बावजूद 18 वर्ष से कम उम्र के बच्चों के लिए एंटीवायरल या मोनोक्लोनल एंटीबॉडी का उपयोग करने की सिफारिश नहीं की जाती है और यदि स्टेरॉयड का उपयोग किया जाता है तो उन्हें नैदानिक सुधार के आधार पर 10 से 14 दिनों में इसकी खुराक कम करते जाना चाहिए. स्वास्थ्य मंत्रालय ने ‘बच्चों और किशोरों (18 वर्ष से कम) में कोविड-19 के प्रबंधन के लिए संशोधित व्यापक दिशा-निर्देश’ में यह भी कहा है कि पांच साल और उससे कम उम्र के बच्चों के लिए मास्क की सिफारिश नहीं की जाती है. इसमें कहा गया है कि माता-पिता की सीधी देखरेख में 6-11 साल के बच्चे सुरक्षित और उचित तरीके से मास्क का उपयोग कर सकते हैं.
आंकड़े के मुताबिक ओमीक्रोन के कारण होने वाली बीमारी कम गंभीर
मंत्रालय ने कहा कि 12 वर्ष और उससे अधिक उम्र के लोगों को वयस्कों की तरह ही मास्क पहनना चाहिए. हाल में संक्रमण के मामलों खासकर ओमिक्रॉन वेरिएंट के कारण मामलों में वृद्धि के मद्देनजर विशेषज्ञों के एक समूह द्वारा दिशा-निर्देशों की समीक्षा की गई. मंत्रालय ने कहा कि अन्य देशों के उपलब्ध आंकड़े बताते हैं कि ओमीक्रोन स्वरूप के कारण होने वाली बीमारी कम गंभीर है. हालांकि महामारी की लहर के कारण सावधानीपूर्वक निगरानी की जरूरत है.
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स्टेरॉयड का इस्तेमाल में बरतें सावधानी
दिशा-निर्देश में संक्रमण के मामलों को लक्षण विहीन, हल्के, मध्यम और गंभीर के रूप में वर्गीकृत किया गया. मंत्रालय ने कहा कि बिना लक्षण वाले और हल्के मामलों में उपचार के लिए ‘एंटीमाइक्रोबियल्स या प्रोफिलैक्सिस’ की सिफारिश नहीं की जाती है. मंत्रालय ने कहा कि मध्यम और गंभीर मामलों में एंटीमाइक्रोबियल्स दवाओं को तब तक नहीं देना चाहिए, जब तक कि एक ‘सुपरएडेड इनफेक्शन’का संदेह न हो. दिशा-निर्देश में कहा गया कि स्टेरॉयड का इस्तेमाल सही समय पर, सही खुराक में और सही अवधि के लिए किया जाना चाहिए.
शशांक शेखर विगत 30 वर्षों से पत्रकारिता, आकाशवाणी व सामाजिक कार्यों से जुड़े हुए हैं साथ ही लघु/फीचर फिल्मों व वृत्त चित्रों के लिए कथा-लेखन का कार्य भी विगत डेढ़ दशकों से कर रहे हैं. मशाल न्यूज़ में पिछले लगभग ढाई वर्षों से कार्यरत हैं.
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